नैनो में दर्पण है दर्पण में कोईदेखू जिसे सुबह शामबोलो जी बोलो ये राज खोलोहम भी सुने दिल को थामया तो है धरती या है गगनया तो है सूरज या है पवनउंहू ....उसका तो साजन है नामनैनो में .....मस्ती में गाये दिल को लुभाएकानो मी मिसरी सी घोलेबोलो जी बोलो ये राज खोलोमेरा भी मन आज डोलेया तो कोयल है या है रागिनीया तो पायल है या है बांसुरीन उसका तो सजनी है नामनैनो में .....बहकी बहकी चाल है उसकी झूमे वो आवाराबोलो जी बोलो ये राज खोलो किसकी तरफ है इशाराया तो जोगी है या है पागलया तो बादल है या आँचलउंहू .....उसका तो प्रियतम है नामनैनो में .....गीत : माया गोविन्दसंगीत : डॉ भूपेन हजारिकागायन : लता मंगेशकर, किशोर कुमारफिल्म : आरोप
Friday, May 10, 2013
नैनो में दर्पण है दर्पण में कोई
Subscribe to:
Post Comments (Atom)

No comments:
Post a Comment